tag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post3605553550140446881..comments2024-03-11T20:46:17.151+05:30Comments on विश्वमोहन उवाच : भोजपुरी और अश्लीलता (भोजपुरी दिवस पर विशेष)विश्वमोहनhttp://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comBlogger37125tag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-56639908501250992072021-07-03T19:44:42.926+05:302021-07-03T19:44:42.926+05:30बहुत सुंदर सृजनबहुत सुंदर सृजनMANOJ KAYALhttps://www.blogger.com/profile/13231334683622272666noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-79630794491018905922021-07-01T11:49:30.788+05:302021-07-01T11:49:30.788+05:30जी, आपके आशीष का अत्यंत आभार।जी, आपके आशीष का अत्यंत आभार।विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-33075178569564450352021-07-01T10:27:13.289+05:302021-07-01T10:27:13.289+05:30आपके विचार यथार्थपरक एवं स्तुत्य हैं विश्वमोहन जी।...आपके विचार यथार्थपरक एवं स्तुत्य हैं विश्वमोहन जी। इस दिशा में सुनने एवं पढ़ने वाले प्रबुद्ध लोगों को ही प्रयास करने होंगे जिससे भाषा निर्मल रहे तथा उसकी छवि न बिगड़े। और जो भोजपुरी गीत आपने प्रस्तुत किया है, उसका रसास्वादन वर्णनातीत है।जितेन्द्र माथुरhttps://www.blogger.com/profile/15539997661147926371noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-4503602862387706532021-06-27T10:55:32.079+05:302021-06-27T10:55:32.079+05:30निहोरा - याचना, आग्रह। तिरिया - पत्नी। बर बथान - घ...निहोरा - याचना, आग्रह। तिरिया - पत्नी। बर बथान - घर के बाहर का द्वार या दुअरा जहां गाय बैल रहते हैं। पेड़ा जोहत, असरा देखी - प्रतीक्षा रत। हर - हल। कुदार - कुदाल। मंगिया - मांग (सिर पर)। डेरवा - डेरा, घर, घोंसला।विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-88681750837060681722021-06-27T10:49:05.707+05:302021-06-27T10:49:05.707+05:30जी, आपकी इस विस्तृत और विद्वतपूर्ण टिप्पणी का सादर...जी, आपकी इस विस्तृत और विद्वतपूर्ण टिप्पणी का सादर आभार।विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-61623050464230525702021-06-27T10:48:04.524+05:302021-06-27T10:48:04.524+05:30बहुत सुंदर। स्वस्थ और सरस अवधी गीतों का सृजन यज्ञ ...बहुत सुंदर। स्वस्थ और सरस अवधी गीतों का सृजन यज्ञ आप अनवरत जारी रखें। हार्दिक बधाई और शुभकामनायें!!!विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-15474470087434223362021-06-26T11:29:16.208+05:302021-06-26T11:29:16.208+05:30बस प्रवाह की वही करवट हमारी ओर आशा भारी दृष्टि से ...बस प्रवाह की वही करवट हमारी ओर आशा भारी दृष्टि से देख रही है।विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-85399910752669029202021-06-26T11:28:15.899+05:302021-06-26T11:28:15.899+05:30जी, बिलकुल सही कहा आपने। किंतु हमारा यह पुनीत कर्त...जी, बिलकुल सही कहा आपने। किंतु हमारा यह पुनीत कर्तव्य है कि अपनी भावी पीढ़ियों के हाथ में हम अपनी भाषा के विकृत और कुरूप स्वरूप को न सौंपे। अत्यंत आभार आपका।विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-55363081384662667222021-06-26T11:24:15.306+05:302021-06-26T11:24:15.306+05:30जी, हृदय से आभार।जी, हृदय से आभार।विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-85373194514932684002021-06-26T11:22:20.292+05:302021-06-26T11:22:20.292+05:30तोता-मैना की कहानी, कोयल की ज़ुबानी!
अत्यंत आभार इ...तोता-मैना की कहानी, कोयल की ज़ुबानी!<br />अत्यंत आभार इस सुमधुर प्रयास का।विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-58306643424624530572021-06-26T11:19:55.550+05:302021-06-26T11:19:55.550+05:30ब्रज भाषा में आपके द्वारा किए जा रहे प्रयास के लिए...ब्रज भाषा में आपके द्वारा किए जा रहे प्रयास के लिए आपका साधुवाद। हमें मागधी और अर्धमागधी परिवारसहित अन्य सभी भाषाओं को इस विकार से उबारने का प्रयास एक साथ मिलकर करना चाहिए। हमारा जो भी अपेक्षित सहयोग होगा उसे आपको देने को हम अहर्निश तत्पर हैं। बहुत आभार आपका!विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-84349193773193269752021-06-26T11:16:28.548+05:302021-06-26T11:16:28.548+05:30जेतना सबूर से रउआ हमरा इ पोस्ट के निहरनी ह औरी एक-...जेतना सबूर से रउआ हमरा इ पोस्ट के निहरनी ह औरी एक-एक बात के एकदम बारीकी से बुझ के ठहाका से जवाब पटकले बानी, उ देख सुन के हमार मन जे बा से कि एकदम गच्च हो गइल बा। राउर एक-एक बात एक लाख के बा आ हम आपन माथा नेहुरा के रऊआ के सलाम ठोक तानी।हमनी सभे मिल के विवेके जगावला में फ़ायदा लउकता। विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-77874200221418270892021-06-26T11:15:52.913+05:302021-06-26T11:15:52.913+05:30
प्रिय रेणु जी, मेरी कोशिश को सराहने के लिए धन्यव...<br /><br />प्रिय रेणु जी, मेरी कोशिश को सराहने के लिए धन्यवाद और आभार।🙏<br />विश्वमोहन जी से अनुरोध कर सकती हूँ कि इस गीत के कुछ keywords का अनुवाद कर दें, ताकि सभी इस गीत का आनंद उठा सकें।<br /><br /><br /><br /> <br />Dr.Rashmi Thakurhttps://www.blogger.com/profile/00793082534528747428noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-60577344726376372552021-06-26T05:43:26.075+05:302021-06-26T05:43:26.075+05:30मैना करेली निहोरा अपना तोता से,///////
प्रिय रश्मि...मैना करेली निहोरा अपना तोता से,///////<br />प्रिय रश्मि जी, आपके स्वर में इस गीत को सुनकर मुग्ध हूं। गीत के भाव मेरे लिए ज़्यादा स्पष्ट नहीं पर आपके गायन ने इस गीत की भावाभिव्यक्ति में चार चांद लगा दिए हैं। रात से इसे कई बार सुन चुकी हूं। आंचलिकता और माटी की सुगंध लिए इस स्वर माधुर्य का कोई जवाब नहीं। मां सरस्वती की कृपा आपके कोकिल कंठ पर सदैव बनी रहे यही दुआ करतीं हूं । ❤️🌷❤️❤️🌷🙏रेणुhttps://www.blogger.com/profile/16292928872766304124noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-78520876962911958672021-06-25T23:58:31.128+05:302021-06-25T23:58:31.128+05:30और काव्य रचना और सुबोध जी सहित अन्य पाठकों की भो...और काव्य रचना और सुबोध जी सहित अन्य पाठकों की भोजपुरिया टिप्पणियाँ कुछ समझ में आई कुछ नहीं पर ब्लॉग पर आंचलिकता का समां बंध गया है जो निसंदेह बहुत मनभावन है |पुनः आभार | रेणुhttps://www.blogger.com/profile/16292928872766304124noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-73308931404855916942021-06-25T23:55:16.306+05:302021-06-25T23:55:16.306+05:30सुंदर सुभूमि भैया भारत के देसवा से
मोरे प्राण बसे ... सुंदर सुभूमि भैया भारत के देसवा से<br />मोरे प्राण बसे हिम-खोह रे बटोहिया |<br />एक द्वार घेरे रामा हिम-कोतवलवा से<br />तीन द्वार सिंधु घहरावे रे बटोहिया||एक अविस्मरणीय प्रस्तुति आदरणीय विश्वमोहन जी। सबसे पहले आदरणीय रघुवीर नारायण जी द्वारा रचित रचना" बटोहिया ,"के सुमधुर वाचन के लिए कोटि आभार!! रघुवीर नारायण जी की पुण्य स्मृति को सादर नमन, जिन्होंने '' बटोहिया ;; के रूप में सदी का बेमिसाल सृजन किया ! । जिसे गाँधीजी के शब्दों में -- '' भोजपुरी वन्दे मातरम '' कहा गया | एक सार्थक विमर्श सोचने पर मजबूर करता है। सच है फ़िल्मों में देहप्रदर्शन और द्विअर्थी संवादों पर आधारित व्यावसायीकरण की बदौलत नैतिक और सांस्कृतिक मूल्यों का ह्वास हो चुका है । और ये भी कड़वा सच है बिहार ओर हरियाणा को वेदभूमि होने का गौरव प्राप्त है जहां उच्च संस्कारों की दीर्घ परंपरा रही है। अर्थोपार्जन की तीव्र लालसा वाले फ़िल्म निर्माताओं ने इन दोनों राज्यों का नाम अश्लीलता से जोड़कर इनकी गरिमा को ठेस पहुंचाई है। जैसा कि मैंने वीडियो में सुना स्तरीय फिल्में आज भी मील का पत्थर हैं साथ में सामाजिकता और सांस्कृतिकता में बेजोड़ हैं। भोजपुरी का मुझे ज्यादा नहीं पता पर हरियाणा में भी, हरियाणवी में शुरुआत में बहुत शानदार फिल्में बनीं हैं। "चंद्रावल" हरियाणा की पहली साफ़ -सुथरी बेमिसाल फिल्म रही जिसने हरियाणवी सिनेमा को घर -घर तक पहुँचाया |उसका जादू कोई दूसरी फिल्म ना दोहरा सकी | आपने चिंतन में फिल्मों का जिक्र किया लेकिन एक चीज को अनदेखा किया जिसका उल्लेख करना चाहूँगी |फिल्मों से कहीं घातक और शालीनता को दरनिकार कर रहे छोटे वीडियो और एल्बम हैं जिन्हें आज यू tube जैसे मंच पर देखना और पाना मुश्किल नहीं | जो संस्कृति और नैतिकता की नसों में मीठा जहर बनकर उसकी घुले जा रहे हैं | चकोर संस्था ने सोशल मीडिया पर कुछ भी पल भर में वायरल हो जाने के युग में यदि इन मनमानियों के खिलाफ ध्वजा उठायी है तो निसंदेह वह सराहना और साधुवाद की पात्र है |खेद है की मुझे भोजपुरी सिनेमा के बारे में ज्यादा नहीं पता पर हिंदी फिल्मों में'' नदिया के पार'','' गंगा जमुना [ सिर्फ सुनी है देखी नहीं ] के साथ'' तीसरी कसम '' भोजपुरी संस्कृति और सभ्यता का उत्कृष्ट उदाहरण है जो बिहार के उदार देहाती परिवेश के मधुर चित्र प्रस्तुत करती हैं | पर नये सिनेमा में प्रायः हर कहीं अतिवाद है चाहे वह किसी भाषा या प्रांत का हो | एक सार्थक चर्चा और बहुर ही प्रभावी प्रस्तुतिकरण के लिए आपको हार्दिक आभार और शुभकामनाएं|<br /><br />रेणुhttps://www.blogger.com/profile/16292928872766304124noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-44695760123030440412021-06-25T20:32:03.439+05:302021-06-25T20:32:03.439+05:30बहुत ही सार्थक विषय पर आपकी सुंदर परिचर्चा देखी सु...बहुत ही सार्थक विषय पर आपकी सुंदर परिचर्चा देखी सुनी, बहुत ही सराहनीय पहल है,किसी को भी एक सुंदर संस्कृति को गंदा करने की इजाज़त नहीं होनी चाहिए,ज़रूर आंदोलन करना चाहिए,बटोहिया गीत ने तो मन मोह लिया,आपका गीत भी बहुत हाई सुंदर आंचलिक भाषा का द्योतक है,आपके संस्कृति और सभ्यता के लिए किए जाने वाले कार्य बड़े हाई प्रेरक हैं, आपको बहुत शुभकामनाएँ और नमन आदरणीय विश्वमोहन जी......<br /> इन्हीं संदर्भो को ध्यान रखकर मैंने अवधी गीतों का अपना ब्लॉग प्रारम्भ किया था,जिसमें मैं स्वरचित तथा कुछ पुराने गीतों को भी डालने की कोशिश करती हूँ, और आप जैसे विद्वतजन प्रेरणास्वरूप दो शब्द लिखते हैं,तो बड़ा हर्ष होता है,और प्रेरणा मिलती है,आशा है,आगे भी आप सबसे प्रेरणा मिलेगी...आपको मेरा नमन। जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-44046637756618878202021-06-25T17:51:45.739+05:302021-06-25T17:51:45.739+05:30कई बार एक दौर आता है जिस पर रोक मुश्किल लगती है पर...कई बार एक दौर आता है जिस पर रोक मुश्किल लगती है पर फिर प्रवाह जब करवट लेता है रूप बदल जाता है ... कई भाषाओं में ऐसा होता रहा है ... आपकी आंचलिक भाषा की याचना बेहद कमाल है ... बहुत शुभकामनाएं ... दिगम्बर नासवाhttps://www.blogger.com/profile/11793607017463281505noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-39698019400431925592021-06-25T16:27:50.662+05:302021-06-25T16:27:50.662+05:30भोजपुरी दिवस पर वीडियो में भोजपुरी भाषा एवं संस्कृ...भोजपुरी दिवस पर वीडियो में भोजपुरी भाषा एवं संस्कृति पर गहन विश्लेषण बहुत सुन्दर एवं ज्ञानवर्धक है ।भोजपुरी अपने आप में बहुत सुन्दर एवं समृद्ध भाषा है हाँ कुछ फिल्मी डायलॉग एवं गानों में भोजपुरी में अश्लील संवाद हैं लेकिन वह फिल्म की अश्लीलता है किसी भाषा विशेष की नहीं ।यह भी सही है कि बच्चे फिल्मों से प्रेरित होकर उन शब्दों को ग्रहण करते हैं...पर यह किसी भी भाषा के साथ हो सकता है। या हो रहा है। इससे भाषा दूषित नहीं हो सकती देश की संस्कृति एवं भाषाओं का विकास होना ही चाहिए संस्कृति से ही संस्कार हैं...<br />बहुत सुन्दर भोजपुरी गीत एवं प्रासंगिक लेख।Sudha Devranihttps://www.blogger.com/profile/07559229080614287502noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-53974048671069547092021-06-25T16:19:15.350+05:302021-06-25T16:19:15.350+05:30खुब नीमन लिखले बानी । मन गदगदा गइल । खुब नीमन लिखले बानी । मन गदगदा गइल । अजय मिश्राhttps://www.blogger.com/profile/07504849761760333820noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-21922452885233491112021-06-25T16:03:46.422+05:302021-06-25T16:03:46.422+05:30https://drive.google.com/file/d/1Y2HK19_OoLKFzwpz2...https://drive.google.com/file/d/1Y2HK19_OoLKFzwpz2LGmA1ffkQmydwUG/view?usp=drivesdk<br />आपके इस सुंदर गीत को मैंने स्वर देने की कोशिश की हैDr.Rashmi Thakurhttps://www.blogger.com/profile/00793082534528747428noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-43355368787735302702021-06-25T14:28:52.554+05:302021-06-25T14:28:52.554+05:30विश्वमोहन जी, सादर प्रणाम। पूरी पोस्ट और उस पर ...विश्वमोहन जी, सादर प्रणाम। पूरी पोस्ट और उस पर भोजपुरी में कमेंट पढ़कर बहुत बहुत ही अच्छा लगा....अपनी संस्कृति में भावाभिव्यक्ति सबसे अच्छी होती है, क्षेत्रीय भाषा कोई भी हो इसके विकास का दायित्व तो हमें स्वयं लेना ही होगा। हम भी ब्रजभाषा में थोड़ा सा प्रयास कर रहे हैं। एक संकल्प याद दिलाने के लिए धन्यवाद। Alaknanda Singhhttps://www.blogger.com/profile/15279923300617808324noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-11277283033123428202021-06-25T12:20:02.091+05:302021-06-25T12:20:02.091+05:30रउआ के नमस्कार बोल तानी ! राउर "मैनिया" ...रउआ के नमस्कार बोल तानी ! राउर "मैनिया" के आपन "गलथेथरु तोतवा" से कइल निहोरवा तअ देखवे कईन्नी हअ .. मिज़ाज हरिहर हो गईल हअ .. आउर साथे राउर 39 मिनट आ 10 सेकेंड वाला वीडियो भी कान में इअरफोनवा के ठूंस के ढेरे सबुर से सुननी हअ ..पूरा इतिहास आउर भूगोल के कूल्हे किलास ले लेनी हअ रउआ आपन (गलथेथरी) कहे में ...<br />इ मोट दिमाग में राउर दुए गो बतवा समाइल हअ कि हमनी के समाज दोगला समाज बा .. कहे ला कुछो .. आउर करे ला कुछो .. सेही से तअ इ हाल बा। रउए सोंची कि .. का कौनो इ असलील (अश्लील) लिखे वाला के फिल्मवा आ चाहे गनवा से जेबी कइसे भरेला ? खाली मजूर आ जहिलवन के देखे-सुने से ? ओकरा में पढ़ल-लिखल समाज के वेखति भी घुसल बा। पर का बा कि उ सभे कम उमिर के बा। आ ओकर बदलाव, मने ओकर विवेक जगावे के पड़ी, जे से उ नीमन आ बाउर सोच सके। जेह दिन नीमन आ बाउर में फरक करे लगिहैं हमार समाज के लोग उहे दिन बदलाव आयी। केहू सूनवे ना करी, केहू देखवे ना करी, तअ इ रउआ हिसाब से "चोली, लहंगा" वालन के कमाई कहाँ से होखी ? बा कि ना ?<br />सामने से विरोध करे से बेहतर बा कि तरे तरे समाज के लोगन के मुंडी पलटल जाव। विरोध करे आ क़ानून बनावे से , ना तअ दहेज़ कम भईल हअ आउर ना ही बलात्कार कम भईल हअ। विरोध करे से तअ .. "जोधपुर के महाराज यशवंत सिंह के दरबार में स्वामी दयानंद सरस्वती आ नन्हीं जान" वाला कौनो घटना ना घट जावो। हम डरावत नइखीं राउर मिसन (मिशन) के। राउर इतिहास सुन के हम्रो एगो इतिहास इयाद आ गईल हअ तअ बक देनी हअ। :)<br />वइसे तअ भाषा कबहुँ प्रदूषित ना हो सकअ तिया, हाँ, उ समय समय पर बदलत जरूर रहल हिअ। आगे भी बदली आ .. दोसर मौसी, मामी, फुआ के आपन गलो लगईबो करी। बा कि ना ? प्रदूषण तअ आदमी के (दोगलन सभे के) दिमाग में घुसल बा।<br />एगो राउर बात आउर हमार मोट दिमाग में घुसल हअ कि सभे लोगन परिवार के साथे बईठ के आजकल के भोजपुरी सिनेमा ना देख सकेलन, बात राउर सही बा। पर आज तअ परिवार के संगे बईठ के लोग टी वी पर अइसन अइसन प्रोडक्ट के परचार (विज्ञापन) देखत बाड़े कि जेकरा छोटहन बुतरूअन सभे के ना देखहे के चाहीं ...<br />विरोध से बेहतर बा कि सभे लोगन के हमनी सभे मिल के विवेक जगावल जाव .. बस एही लेखा ... (बस यूँ ही ...)...<br /> Subodh Sinhahttps://www.blogger.com/profile/05196073804127918337noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-43580660523335156802021-06-25T12:05:49.529+05:302021-06-25T12:05:49.529+05:30जी, आभार!!!जी, आभार!!!विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2376745467710236793.post-8426108549361036502021-06-25T12:05:03.731+05:302021-06-25T12:05:03.731+05:30जी, बहुत आभार!!!जी, बहुत आभार!!!विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.com